दिल्ली-एनसीआर और जयपुर के बीच अब दूरी नहीं, बल्कि रफ्तार की बात होगी। बांदीकुई-जयपुर एक्सप्रेसवे, जो दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे का हिस्सा है ...
दिल्ली-एनसीआर और जयपुर के बीच अब दूरी नहीं, बल्कि रफ्तार की बात होगी। बांदीकुई-जयपुर एक्सप्रेसवे, जो दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे का हिस्सा है 15 जुलाई को जनता के लिए खोल दिया गया है। नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) के मुताबिक, इस नए रास्ते ने दिल्ली से जयपुर का सफर महज ढाई से तीन घंटे में पूरा करने का रास्ता साफ कर दिया है। पहले जहां पुराने रास्ते पर जाम और भीड़भाड़ के कारण समय लगता था, अब यह हाई-स्पीड कॉरिडोर यात्रियों को तेज और आरामदायक सफर का तोहफा दे रहा है।
पुराना रास्ता, पुरानी मुश्किलें
पहले यात्री आगरा-जयपुर हाइवे का इस्तेमाल करते थे, जो चार लेन का है और इसके 69 किलोमीटर के रास्ते में छोटे-छोटे गांव और कस्बे पड़ते थे। इस रास्ते पर भीड़ और ट्रैफिक के कारण 69 किलोमीटर की दूरी तय करने में डेढ़ घंटे से ज्यादा लग जाते थे। लेकिन अब नया एक्सप्रेसवे इन मुश्किलों को पीछे छोड़ चुका है।
रोजाना 15,000 गाड़ियां बना रहीं नया रिकॉर्ड
एनएचएआई के अधिकारियों ने बताया कि बांदीकुई-जयपुर के 67 किलोमीटर लंबे इस नए हिस्से पर हर दिन करीब 15,000 वाहन दौड़ रहे हैं। इस रास्ते ने न केवल समय बचाया, बल्कि दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से जयपुर के बगराना क्रॉसिंग तक की दूरी को भी 12 किलोमीटर कम कर दिया। अब यह सफर तीन घंटे में पूरा हो रहा है।
12 फरवरी 2023 को जब दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे के सोहना-दौसा खंड का उद्घाटन हुआ था, तब केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने दिल्ली और जयपुर के बीच तीन घंटे के सफर का वादा किया था। लेकिन उस समय बांदीकुई-जयपुर खंड तैयार नहीं था, जिसके कारण यह लक्ष्य अधूरा रह गया था। अब इस नए खंड के खुलने से वह सपना हकीकत बन चुका है। यह 67 किलोमीटर का हाई-स्पीड कॉरिडोर न केवल समय और दूरी बचाता है, बल्कि यात्रियों को एक सुगम और सुरक्षित अनुभव भी देता है।
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