गाजियाबाद सचल दल की यूनिट-10 में तैनात राज्य कर अधिकारी रेनू पांडेय को रविवार को निलंबित कर दिया गया है। अपर आयुक्त नोएडा संदीप भागीय के खिल...
गाजियाबाद सचल दल की यूनिट-10 में तैनात राज्य कर अधिकारी रेनू पांडेय को रविवार को निलंबित कर दिया गया है। अपर आयुक्त नोएडा संदीप भागीय के खिलाफ महिला अधिकारियों को छुप-छुपकर घूरने, रात में वीडियो कॉल और गंदी बात करने समेत कई आरोप लगाने के बाद वह चर्चा में आई थीं। आयुक्त राज्य कर डा. नितिन बंसल ने उनके निलंबन का आदेश जारी किया है। उनके खिलाफ शिकायत मिली है कि उन्होंने घूस के रूप में 3.5 लाख रुपये लिए हैं। उनके खिलाफ जांच संयुक्त आयुक्त विशेष अनुसंधान शाखा वाराणसी मनोज कुमार सिंह करेंगे।
नोएडा में अपर आयुक्त के पद पर आईएएस संदीप भागीय तैनात हैं। उनके पास ही गाजियाबाद का भी प्रभार है। मुख्यमंत्री को उनके खिलाफ पिछले दिनों वहां की महिला अधिकारियों ने शोषण व अमानवीय व्यवहार का आरोप लगाते हुए शिकायत की थी। प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री ने प्रमुख सचिव राज्य कर को नियमानुसार कार्रवाई करने का पत्र भेजा था। इन आरोपों के बाद रेनू पांडेय चर्चा में आई थीं। हालांकि, 14 अगस्त से पहले वह राज्य कर के बड़े अधिकारियों से मिलकर मामले में सफाई भी दे गई थीं कि उनके नाम का इस्तेमाल किया जा रहा है।
आयुक्त राज्य कर की ओर से जारी निलंबन के आदेश में कहा गया है कि रेनू पांडेय राज्य कर अधिकारी सचल दल यूनिट-10 गाजियाबाद के संबंध में अपर आयुक्त ग्रेड एक गाजियाबाद जोन द्वितीय को वाट्सअप पर दिल्ली उच्च न्यायालय के अधिवक्ता शशांक सिंघल से शिकायत प्राप्त हुई थी। इसमें कहा गया कि 24 जुलाई 2025 को उनके क्लाइंट बड्डी इंटरप्राइजेज लखनऊ की गाड़ी संख्या यूपी-25 ईटी 2138 को 12 जुलाई को रात 19 बजे रोका गया। कार्रवाई करते हुए पैनाल्टी लगाई गई। शिकायतकर्ता द्वारा यह आरोप लगाया गया है कि रेनू पांडेय राज्य कर अधिकारी सचल दल यूनिट-10 गाजियाबाद को उनके क्लाइंट द्वारा 3.5 लाख रुपये दिए गए। इस संबंध में साक्ष्य के रूप में फोन कॉल की ऑडियो व वीडियो रिकार्डिंग भी दी गई है।
अपर आयुक्त राज्य कर गाजियाबाद जोन द्वितीय संदीप भागीय द्वारा इस मामले में आख्या उपलब्ध कराते हुए यह बताया गया कि उनका कृत्य गंभीर गड़बड़ी की श्रेणी में आता है। इससे विभाग की छवि धूमिल हुई है और उनके विरुद्ध कठोर अनुशासनात्मक कार्रवाई करने की प्रबल संस्तुति की गई। इन आरोपों को गंभीरता से लेते हुए रेनू पांडेय को निलंबित करते हुए अनुशासनिक कार्रवाई की संस्तुति की गई है। निलंबन अवधि में वह संयुक्त आयुक्त कार्यालय आजमगढ़ वाराणसी जोन से संबद्ध रहेंगी।
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