चाकू, फरसा से लेकर बंदूक तक…हकीम सलाउद्दीन की फैक्ट्री में तैयार होते थे ये घातक हथियार, सामने आया POK कनेक्शन!



आमों के लिए मशहूर लखनऊ का मलिहाबाद अब एक सनसनीखेज खुलासे के कारण सुर्खियों में है. लखनऊ के मलिहाबाद थाना क्षेत्र में पुलिस ने अवैध असलहा फैक्ट्री का भंडाफोड़ करते हुए 68 वर्षीय हकीम सलाउद्दीन उर्फ लाला को गिरफ्तार किया है. जांच में चौंकाने वाला खुलासा हुआ है कि सलाउद्दीन कश्मीर तक अवैध हथियारों की तस्करी करता था और उसके कॉल रिकॉर्ड में पाक अधिकृत कश्मीर (पीओके) के संदिग्धों से बातचीत के साक्ष्य मिले हैं. इस मामले की गंभीरता को देखते हुए एटीएस (आतंकवाद निरोधक दस्ता) ने भी छानबीन शुरू कर दी है.


मलिहाबाद थाने से महज 100 मीटर की दूरी पर सलाउद्दीन के घर और उसके बगल के पुराने सिनेमा हॉल में यह अवैध कारोबार सालों से चल रहा था. पुलिस को गुप्त सूचना के आधार पर गुरुवार देर रात छापेमारी करनी पड़ी, जिसमें भारी मात्रा में हथियार और तस्करी से जुड़ा सामान बरामद हुआ. इस घटना ने पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाए हैं, क्योंकि इतने नजदीक चल रही अवैध गतिविधियों की भनक तक नहीं लगी.


क्या-क्या बरामद हुआ?


एडीसीपी जितेंद्र दुबे ने बताया कि सलाउद्दीन के कब्जे से तीन देसी पिस्टल, एक तमंचा, दो देसी तमंचे (.22 बोर), एक राइफल, सात एयरगन, 118 कारतूस (315 बोर, 22 बोर, 12 बोर), 41 खोखे, छह बांका, दो छुरियां, नौ फरसे और गड़ासे, हथियार बनाने के उपकरण और प्रतिबंधित हिरन की खाल बरामद हुई. इसके अलावा, एक लैपटॉप भी जब्त किया गया, जिसका डाटा खंगाला जा रहा है. हिरन की खाल मिलने पर वन्य जीव संरक्षण अधिनियम और हथियारों के लिए आयुध अधिनियम के तहत दो एफआईआर दर्ज की गई हैं.


कश्मीर और पीओके कनेक्शन की जांच


जांच में पता चला कि सलाउद्दीन कश्मीर तक हथियारों की तस्करी करता था. उसके कॉल रिकॉर्ड में पीओके के कुछ संदिग्धों से संपर्क के सबूत मिले हैं, जिसके बाद पुलिस और खुफिया एजेंसियां आतंकी कनेक्शन की आशंका की जांच में जुट गई हैं. लैपटॉप और मोबाइल फोन की फॉरेंसिक जांच से तस्करी के नेटवर्क का पूरा ब्योरा सामने आने की उम्मीद है.


हकीम की आड़ में तस्करी का खेल


सलाउद्दीन पेशे से हकीम है और मलिहाबाद के मिर्जागंज में दवा देने की दुकान चलाता था. उसकी दुकान के बाहर लिखा था कि वह जुम्मे को छोड़कर हर दिन तीन घंटे परामर्श और दवा देता है. स्थानीय लोगों ने बताया कि उसके घर से रात में ड्रिल मशीन की आवाजें आती थीं, लेकिन किसी को अंदाजा नहीं था कि वह अवैध हथियार बना रहा है. सलाउद्दीन शिकार का शौकीन था और शहद का कारोबार भी करता था. वह मलिहाबाद तिहरे हत्याकांड के आरोपी लल्लन खां का रिश्तेदार भी है.


पुलिस को स्थानीय लोगों से पता चला कि सलाउद्दीन के घर अक्सर संदिग्ध लोग आते-जाते थे. कई बार चार-पांच लोग उसके घर में ठहरते थे, जो दिखने में अजीब लगते थे. उसके घर में किराए के कमरे बने थे, जहां ये लोग रुकते थे. पुलिस का मानना है कि सलाउद्दीन घर से ही हथियारों की खरीद-फरोख्त करता था और तस्कर यहीं से असलहे ले जाते थे.


पुलिस और एटीएस की कार्रवाई


एडीसीपी जितेंद्र दुबे ने बताया कि सलाउद्दीन को गिरफ्तार कर लिया गया है और उससे पूछताछ जारी है. पुलिस उसके करीबियों और नेटवर्क के अन्य सदस्यों का पता लगा रही है. एटीएस की टीमें भी इस मामले में गहन जांच कर रही हैं.





 

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